23-04-21 Friday
इंडिया टुडे ग्रुप के साथ जुड़े हुए वरिष्ठ फोटोजर्नलिस्ट शैलेश रावल का कोरोना संक्रमण से दुःखद निधन हुआ है। वायरस के बढ़ते जा रहे लोड के चलते उनका ऑक्सीजन लेवल लगातार गिर रहा था और उन्हें हॉस्पिटलाइज करने की कोशिश भी की जा रही थी,लेकिन इसी बीच उन्होंने दम तोड़ दिया।
शैलेश रावल अपने आप में एक संपूर्ण तस्वीर जैसे थे। खुद को फोटोजर्नलिस्ट के बजाय इमेज मेकर के रूप में जाने जाना शैलेश रावल को ज्यादा पसंद था।अपने दोस्तों और फोटोग्राफी के स्टूडेंट को वो सिखाते की मीडिया में सिर्फ फोटोग्राफी नहीं करनी होती है, बल्कि समूचे दृश्य की ऊपरी और आंतरिक इमेज देखने वाले तक पहुंचाने होती है।
शैलेश रावल सिर्फ फोटो जगत में ही नहीं पूरे समाज में,अपने परिवार में,समाज में काफी संवेदनशील और मिलनसार माने जाते थे।
अपना ज्ञान दूसरों को बांटने में वरिष्ठ फोटोजर्नलिस्ट शैलेश रावल को काफी मजा आता था। इंडिया टुडे के गुजराती और फिर इंग्लिश एडिशन में उनकी कवर स्टोरी और एक्सक्लूसिव स्टोरी हमेशा चर्चा का केंद्र बनती।
शैलेश रावल उत्तर गुजरात के निवासी थे और उत्तर गुजरात के प्रति उनका लगाव उनकी तस्वीरों में झलकता था। किसान पुत्र होने के नाते मिट्टी के साथ उनका जुड़ाव जिंदगी भर रहा,जो उनकी तस्वीरों के जरिए लोगों तक पहुंचता था। शैलेश रावल की औचक विदाई से गुजराती फोटोजर्नलिज्म के एक अनोखे प्रकरण पर पूर्ण विराम लग गया है।
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