राजस्थान की आबू रोड पंचायत समिति क्षेत्र का एक गांव ऐसा है जो आजादी के 75 साल बाद भी बुनियादी सुविधाओं से वंचित है।
आबू रोड पंचायत समिति के उपलागढ़ ग्राम पंचायत क्षेत्र में एक ऐसा गांव है जहां न पीने के पानी की सुविधा है ना बिजली की और ना ही सड़क की। आजादी के 75 साल बाद भी यहां के लोग बुनियादी सुविधाओं के अभाव में ही जीवन गुजार रहे हैं ।समूचा भारत देश विश्व की तीसरी इकोनामी और डिजिटल भारत की तर्ज पर आगे बढ़ रहा है और डिजिटल युग में भी यह गांव सड़क पानी और बिजली की समस्या से जूझ रहा है।
यह स्थान सिरोही जिला के आबूरोड पंचायत समिति के उपलागढ़ ग्राम पंचायत इलाके का है। यहाँ गोरिया फली,वास फली और बेवटा फली का इलाका जहां स्कूल है, इस स्कूल में एक से आठवीं तक बच्चे पढ़ाई करते हैं लेकिन सड़क नहीं होने की वजह से छात्रों और शिक्षकों को आवाजाही में परेशानी होती है। यहां करीब 550 घरों में 1600 लोगों की आबादी है, लेकिन सड़क पानी शिक्षा बिजली जैसी सुविधा यहां के लोगों के नसीब में नहीं है। गांव में कोई बीमार हो जाता है तो परिवारजन लकड़ी पर ही चादर बांधकर 2 किलोमीटर पैदल चलकर मुख्य मार्ग तक ले जाते हैं। बारिश के मौसम में यह क्षेत्र संपर्क विहीन हो जाता है और ऐसे में यहां के लोगों को डिजिटल भारत की सुविधा भले ही ना मिले लेकिन बुनियादी सुविधाएं मिले ऐसी आस ग्रामजन लगा रहे हैं।
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