बॉलीवुड सुपरस्टार सलमान खान को जान से मारने की धमकी देने वाला शख्स आखिरकार पकड़ में आ गया, लेकिन जब सच्चाई सामने आई तो सभी हैरान रह गए। मुंबई पुलिस की गहन जांच के बाद खुलासा हुआ कि धमकी देने वाला शख्स कोई अपराधी नहीं बल्कि एक मानसिक रूप से अस्थिर युवक है, जो गुजरात के वडोदरा जिले के वाघोडिया तालुका के एक गांव में रहता है।
यह व्यक्ति, जिसकी उम्र 26 साल है और नाम मयंक पांड्या बताया गया है, पिछले कुछ समय से मानसिक बीमारी से ग्रसित है और उसका इलाज चल रहा है। पुलिस ने उसे गिरफ्तार नहीं किया है बल्कि नोटिस जारी करते हुए कहा है कि जब जरूरत पड़ेगी, तब उसे पेश होना होगा।
कैसे हुआ खुलासा?
पूरा मामला उस समय सामने आया जब मुंबई ट्रैफिक पुलिस की वॉट्सऐप हेल्पलाइन पर रविवार को एक धमकी भरा संदेश मिला, जिसमें सलमान खान की कार को बम से उड़ाने और उनके घर में घुसकर हमला करने की बात लिखी गई थी। संदेश की गंभीरता को देखते हुए वर्ली पुलिस ने तुरंत आईपीसी की धारा 351(2)(3) के तहत केस दर्ज किया और खान के बांद्रा स्थित घर के बाहर सुरक्षा बढ़ा दी गई।
जांच के दौरान मुंबई पुलिस ने IP ट्रेस करते हुए पता लगाया कि यह संदेश गुजरात के वाघोडिया तालुका से भेजा गया है। इसके बाद मुंबई पुलिस की एक टीम वाघोडिया पहुंची और स्थानीय पुलिस की मदद से संदिग्ध के घर दबिश दी। पूछताछ में स्पष्ट हुआ कि वह मानसिक रूप से स्वस्थ नहीं है और उसका नियमित इलाज चल रहा है।
पहले भी मिल चुकी हैं धमकियां
सलमान खान को पहले भी कई बार धमकियां मिल चुकी हैं, खासकर लॉरेंस बिश्नोई गिरोह की ओर से। इस गिरोह ने उन्हें काले हिरण के मामले में बिश्नोई समुदाय से माफी नहीं मांगने पर अंजाम भुगतने की धमकी दी थी। इसके बाद मुंबई पुलिस ने वाई-प्लस सुरक्षा मुहैया कराई थी। नवी मुंबई पुलिस ने बीते साल एक बड़ी साजिश का खुलासा किया था, जिसमें बिश्नोई गिरोह ने सलमान को उनके पनवेल स्थित फार्महाउस पर मारने की योजना बनाई थी।
मानसिक रोग और सोशल मीडिया का खतरनाक मेल
इस घटना ने एक बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है—क्या मानसिक रूप से अस्थिर लोगों की सोशल मीडिया और डिजिटल माध्यमों तक पहुंच पर कोई निगरानी होनी चाहिए?
भले ही यह धमकी किसी आपराधिक मंशा से नहीं दी गई हो, लेकिन इसने कानून व्यवस्था और एक सेलेब्रिटी की सुरक्षा को लेकर गंभीर चिंता जरूर पैदा की है। यह बात भी गौर करने लायक है कि मानसिक रोगियों की सही पहचान और उन्हें समय पर उपचार मिलना कितना आवश्यक है, ताकि वे खुद को और दूसरों को नुकसान न पहुंचाएं।

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