गुजरात के बिलकिस बानों गैंगरेप केस के दोषियों का फुल एंड फाइनल फैसला हो चुका है। आज ही सुप्रीम कोर्ट ने गुजरात सरकार के जल्द रिहाई के फैसले को पलटते हुए आरोपियों को जेल भेजने का अल्टिमेटम दे दिया है। सुप्रीम कोर्ट की डबल बेंच ने गुजरात सरकार को जमकर फटकार लगाते हुए कहा कि राज्य सरकार इस प्रकार का निर्णय लेने के लिए सक्षम नहीं थी। इतना ही नहीं एससी ने इस कदम को एक फ्रॉड एक्ट करार दिया। इसके बाद दोषियों को एब 14 दिनों के अंदर ही सरेंडर करना पड़ेगा।
फैसला सुनाते हुए अदालत ने कहा कि इन दोषियों की सजा माफी का अधिकार गुजरात सरकार के पास नहीं था और फिर भी ये फैसला लिया गया। इस स्थिती में बिलकिस बानो की याचिका सुनवाई के योग्य है। शीर्ष अदालत ने कहा कि बिलकिस बानो से गैंगरेप के दोषियों के खिलाफ जिस राज्य में केस चला था, वहीं की सरकार उनकी सजा माफ कर सकती थी। इसकी बदले गुजरात सरकार ने ये फैसला लिया, जो गलत था। उनके पास इन लोगों की सजा को माफ करने का कोई अधिकार नहीं था।
ये भी पढ़ें – बिलकिस बानो के दोषियों को रिहा करने का मामला
आपको बता दें कि 2002 में गुजरात दंगों के दौरान बिलकिस बानो के साथ गैंगरेप हुआ था और उनके परिवार के कई लोगों की हत्याएं भी कर दी गई थी। इस कांड के 11 दोषियों के खिलाफ महाराष्ट्र में केस चला था। ऐसे में सुप्रीम कोर्ट का कहना है कि इस पर फैसला महाराष्ट्र सरकार को ही लेना था कि ये लोग सजा कर किए जाने के हकदार हैं या नहीं।

More Stories
वडोदरा में शिक्षा व्यवस्था को मिली नई रफ्तार ; शिक्षा मंत्री ने की अहम घोषणाएं
विकास की नई डगर ; वडोदरा में प्लास्टिक से बनेगी इको-फ्रेंडली सड़क
पीने के पानी में मिला जहर! सूरत की चमकती जेम इंडस्ट्री पर काला धब्बा ,120 जिंदगियां दांव पर