भारत और चीन के बीच रिश्ते में बेहतरी के नए संकेत मिल रहे हैं। भारत चार साल की रुकावट के बाद चीन के लिए सीधी यात्री फ्लाइट फिर से शुरू करने के लिए तैयार दिख रहा है। भारत और चीन के बीच फ्लाइट 2020 में कोविड महामारी के दौरान रोकी गई थीं। बीमारी के बाद दोनों देशों ने ही कोविड-19 की वजह से यात्रा प्रतिबंध हटा दिए लेकिन फिर भी दिल्ली और बीजिंग के बीच फ्लाइट शुरू नहीं हो सकीं। चार साल बाद फ्लाइट शुरू होना दोनों देशों के बीच संबंधों में नरमी का संकेत है, क्योंकि हालिया समय में सीमा पर तनाव घटा है और आर्थिक सहयोग बढ़ाने की मांग कारोबारी वर्ग कर रहा है।साउथ चाइना मॉर्निंग पोस्ट की रिपोर्ट के मुताबिक, भारत के नागरिक उड्डयन मंत्री किंजरापु राममोहन नायडू की हाल ही में दिल्ली में एशिया-प्रशांत मंत्रीस्तरीय सम्मेलन में अपने चीनी समकक्ष सोंग झियोंग से मुलाकात की है। नायडू ने बैठक के बाद कहा कि हमने दोनों देशों के बीच नागरिक उड्डयन सहयोग को मजबूत करने और खासतौर से यात्री उड़ानों को जल्द से जल्द शुरू करने पर चर्चा की है। एविएशन कंसल्टेंसी मार्टिन कंसल्टिंग के सीईओ मार्क डी मार्टिन ने इस पर कहा, ‘मुझे लगता है कि अब समय आ गया है कि उड़ानें फिर से शुरू की जाएं। फ्लाइट सिर्फ बीजिंग के लिए बल्कि दूसरे चीनी प्रांतों के लिए भी होनी चाहिए। फ्लाइट बंद रहने से दोनों देशों के बीच व्यापार में बहुत नुकसान हुआ है।’
मार्क डी मार्टिन का इस पर कहना है कि भारत और चीन की अर्थव्यवस्थाएं एक-दूसरे से जुड़ी हुई हैं। दोनों देश ब्रिक्स (ब्राजील, रूस, भारत, चीन और दक्षिण अफ्रीका का समूह) का हिस्सा हैं और तेजी से उभरते बाजार भी हैं। उन्होंने कहा कि कारोबारियों के साथ-साथ पर्यटन को भी फ्लाइट शुरू होन से फायदा मिलेगा। भारतीय उद्योग के वर्ग, विशेष रूप से इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण, सरकार से व्यापार और सीमा पार यात्रा पर प्रतिबंधों में ढील देने का आग्रह कर रहे हैं। स्थानीय मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, चीन पिछले कुछ समय से भारत पर उड़ानें फिर से शुरू करने के लिए दबाव डाल रहा था। उड़ानें फिर से शुरू होने की कोई निश्चित तारीख की घोषणा नहीं की गई है लेकिन भारतीय पर्यटन उद्योग के अधिकारी उम्मीद कर रहे हैं कि अब इसमें ज्यादा वक्त नहीं लगेगा।
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