घटना का विवरण
लखनऊ के चारबाग इलाके के होटल शरनजीत में 30 दिसंबर को एक परिवार ने कमरा लिया था। इस परिवार में 7 लोग शामिल थे – पिता बदरूद्दीन, मां आसमां, बेटे अरशद (24), और चार बेटियां: आलिया (9), अक्सा (16), अल्शिया (19), और रहमीन (18)। पुलिस के मुताबिक, एक दिन बाद यानी 31 दिसंबर की रात को अरशद ने अपनी मां और चार बहनों की हत्या कर दी। हैरानी की बात यह थी कि हत्या करने के बाद अरशद होटल में शवों के पास बैठा रहा।
जब पुलिस ने पूछताछ की तो अरशद ने खुलासा किया कि उसने और उसके पिता ने मिलकर इस घिनौनी वारदात को अंजाम दिया। उसने बताया कि पिता आत्महत्या करने के लिए होटल से निकलने की योजना बना रहे थे, लेकिन वह इस पूरे घटनाक्रम में शामिल थे।
पारिवारिक कलह का खुलासा
अरशद के अनुसार, पूरे परिवार की हत्या का कारण पारिवारिक कलह था। उसने बताया कि वह आगरा में अपने मोहल्ले के लोगों से परेशान था और उसे डर था कि अगर उसने अपनी मां और बहनों को न मारा, तो वे उसके साथ कुछ गलत कर सकते थे। इसलिए उसने उन्हें खत्म करने का फैसला किया। पुलिस के मुताबिक, इस हत्या में शराब और अन्य ज़हरीली चीज़ों का भी इस्तेमाल हुआ था। कुछ लोगों के मुंह में कपड़ा डालकर उनका गला दबाया गया, जबकि कुछ की कलाई को ब्लेड से काटा गया।
होटल में हत्याकांड का मंजर
हत्याओं के बाद, अरशद ने खुद होटल के कर्मचारियों को सूचना दी कि उसके परिवार के सदस्य मारे गए हैं। पुलिस जब घटनास्थल पर पहुंची तो उन्हें कमरे में शवों के पास अरशद बैठा मिला। मृतकों के शरीर पर गले और कलाई के निशान थे, जिससे यह स्पष्ट हुआ कि हत्या में गला दबाना और ब्लेड का इस्तेमाल किया गया था। पुलिस ने फॉरेंसिक टीम के साथ जांच शुरू की और सभी साक्ष्य एकत्र किए।
आरोपी का अतीत
अरशद के पड़ोसियों के मुताबिक, वह एक झगड़ालू किस्म का इंसान था और अक्सर अपने परिवार के साथ विवाद करता था। उसकी शादी महज छह महीने पहले हुई थी, लेकिन पत्नी ने उसे छोड़ दिया था। परिवार के अन्य सदस्य भी उससे परेशान थे। अरशद ने पिछले कुछ समय में अपने परिवार के अन्य सदस्यों के साथ संबंधों में और ज्यादा दूरी बना ली थी, और आखिरकार यह सनसनीखेज घटना सामने आई।
पड़ोसी बताते हैं कि अरशद ने इस घटना को अंजाम देने से पहले अजमेर जाने की बात कही थी, लेकिन वह अचानक लखनऊ चला आया। इस बारे में किसी को कोई जानकारी नहीं थी कि वह होटल में क्यों रुका था और वहां उसने यह घिनौना कृत्य क्यों किया।
क्या हमें परिवार की मानसिक स्थिति पर ध्यान देना चाहिए?
यह घटना न केवल एक परिवार के लिए अभिशाप बन गई, बल्कि समाज के लिए भी एक बड़ा संदेश छोड़ गई है। पारिवारिक कलह, मानसिक तनाव, और अव्यक्त भावनाओं का परिणाम कभी-कभी इतना भयावह हो सकता है। यह भी जरूरी है कि हम अपने आस-पास के लोगों की मानसिक स्थिति पर ध्यान दें, खासकर उन व्यक्तियों के बारे में जो पारिवारिक या सामाजिक दबाव महसूस कर रहे हों। शायद यदि अरशद को किसी मानसिक या भावनात्मक सहायता मिलती, तो यह क़त्ल टल सकता था।
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