दिल्ली की मुख्यमंत्री के रूप में आतिशी ने पदभार तो संभाल लिया है लेकिन मुख्यमंत्री की कुर्सी अभी भी खाली ही दिख रही है। इस पर अब राजनीति तेज हो गई है।
दिल्ली की नई मुख्यमंत्री आतिशी ने आज सोमवार 23 सितंबर को मुख्यमंत्री के रूप में अपना पदभार संभाल लिया है। वह आज सुबह करीब 12 बजे CM ऑफिस गईं और सभी औपचारिकताएं पूरी कीं। इस दौरान आतिशी ने CM ऑफिस में एक खाली कुर्सी छोड़ी दी और खुद दूसरी कुर्सी में बैठीं।
दिल्ली की नई मुख्यमंत्री आतिशी ने इस मौके पर कहा की जैसे भरत ने खड़ाऊं रखकर सिंहासन संभाला, मैं दिल्ली संभालूंगी। 4 महीने बाद दिल्ली के लोग केजरीवाल को फिर से इसी कुर्सी पर बिठाएंगे। तब तक ये कुर्सी इसी कमरे में रहेगी और केजरीवाल जी का इंतजार करेगी।
उनके इस निर्णय पर अब विपक्ष पार्टी जमकर निशाना साध रहे हैं। भारतीय जनता पार्टि के सांसद मनोज तिवारी ने कहा, “…आतिशी ने दिल्ली के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली है और अगर वो खाली कुर्सी दिखाती हैं तो इससे कई सवाल उठते हैं। इसका मतलब है कि वो खुद को मुख्यमंत्री नहीं मानती हैं। अगर वो खुद मुख्यमंत्री होते हुए किसी और को मुख्यमंत्री मानती हैं तो ये सीएम के पद और संविधान का अनादर है…मैंने दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी को पत्र लिखा है। मेरा पत्र कौन पढ़ेगा?…”
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