18 Mar. Mumbai: मुंबई पुलिस कमिश्नर की कुर्सी गंवाने के बावजूद परमबीर सिंह की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रहीं हैं। सूत्रों द्वारा दी गयी जानकारी के अनुसार तो एंटीलिया केस में जांच करने वाली NIA की टीम जल्द उनसे भी पूछताछ कर सकती है। इसके लिए गृह मंत्रालय से मंजूरी भी मांगी गई है। एंटीलिया केस में गिरफ्तार API सचिन वझे की सीधी रिपोर्टिंग परमबीर सिंह को थी। जिलेटिन से भरी स्कॉर्पियो बरामदगी के बाद वझे के हाथ में इसकी जांच सौंपने वाले भी परमबीर सिंह ही थे। बरहाल परमबीर सिंह को होमगार्ड विभाग की जिम्मेदारी दी गई है।
NIA की पूछताछ में परमबीर सिंह को इन सवालों के जवाब देने पड़ सकते हैं…
16 साल तक सस्पेंड रहने पर सचिन वझे को किस आधार पर फिर से बहाल किया गया?
क्राइम ब्रांच में कई सीनियर होने के बावजूद उन्हें क्यों CIU का हेड बनाया गया?
प्रोटोकॉल नियम को दरकिनार करते हुए वझे क्यों सीधे आपको रिपोर्ट करते थे?
आपने उनके जॉइन करने के तुरंत बाद लगभग सभी बड़े महत्वपूर्ण केस उन्हें सौंपे?
एक असिस्टेंट पुलिस इंस्पेक्टर होने के बावजूद वझे के रसूख पर आपको कभी संदेह नहीं हुआ?
एंटीलिया केस की जानकारी मिलने के बाद ज्यूरिडिक्शन नहीं होने के बावजूद सचिन वझे को इसकी जांच क्यों सौंपी गई?
सचिन वझे को स्पेशल पावर देने के लिए क्या कभी किसी पॉलिटिकल व्यक्ति ने दबाव बनाया था?
वझे की गिरफ्तारी के बाद से परमबीर को लेकर चर्चा शुरू हुई थी
मुंबई पुलिस कमिश्नर पद से परमबीर सिंह को भले ही बुधवार को हटाया गया है, लेकिन उन्हें हटाने की आशंका सचिन वझे की गिरफ्तारी के बाद से होने लगी थी। NCP प्रमुख शरद पवार की मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे से मुलाकात के बाद भी उन्हें हटाने की चर्चा ने जोर पकड़ा था।
सूत्रों के अनुसार, महाविकास अघाड़ी नेताओं की मीटिंग में भी परमबीर सिंह को हटाने पर भी चर्चा हुई थी। इससे एक दिन पहले CM ने मुंबई पुलिस के कई आलाधिकारियों से मुलाकात की थी, जिसमें हेमंत नागराले भी शामिल थे। तभी से नागराले का नाम मुंबई पुलिस कमिश्नर के लिए चल रहा था। बुधवार को महाराष्ट्र के गृह विभाग ने मुंबई पुलिस कमिश्नर परमबीर सिंह को बदलने का आदेश जारी कर दिया और उनकी जगह नया कमिश्नर नियुक्त कर दिया।
इन अधिकारियों से भी हो सकती है पूछताछ
सूत्रों के मुताबिक, इस मामले में जॉइंट पुलिस कमिश्नर (क्राइम) मिलिंद भारंबे और डिप्टी पुलिस कमिश्नर (क्राइम) प्रकाश जाधव का बयान भी NIA की टीम दर्ज करेगी। NIA यह जानना चाहती है कि किसके कहने पर सचिन वझे को स्कॉर्पियो मामले की जांच सौंपी गयी थी। NIA भारंबे और जाधव के बयान को काफी अहम मान रही है।
परमबीर सिंह को 2020 की फरवरी में मुंबई पुलिस के कमिश्नर के तौर पर नियुक्ति थी। मुंबई पुलिस कमिश्नर बनने से पहले वे एंटी क्राइम ब्यूरो (ACB) के डायरेक्टर जनरल थे। इस पद पर भी परमबीर सिंह ने एक ऐसा फैसला किया था जो खूब चर्चा में रहा था। उनके कार्यकाल में ही नवंबर 2019 में ACB ने NCP नेता और उप मुख्यमंत्री अजित पवार को सिंचाई घोटाले के मामले में क्लीनचिट दी गयी थी।
More Stories
मोहाली में गिरी बहुमंजिला इमारत, 15 से ज्यादा लोगों के दबे होने की आशंका , बचाव कार्य जारी
43 साल बाद क्यों कुवैत दौरे पर गए प्रधानमंत्री मोदी?
दिल्ली चुनाव से पहले AAP को बड़ा झटका, LG ने केजरीवाल के साथ खेला खेल