Shaheed Diwas 2024: अंग्रेज़ों द्वारा 200 साल राज किए जाने के बाद देश आज़ाद हुआ। देश को आज़ादी दिलाने में महात्मा गाँधी का एक महत्वपूर्ण योगदान था। आज ही के दिन (30 जनवरी 1948) को नाथूराम गोडसे द्वारा गांधीजी की गोली मार कर हत्या कर दी गई थी। उनकी पुण्यतिथि को ही शहीद दिवस के रूप में मनाया जाता है। सिर्फ गांधीजी ही नहीं बल्कि इस दिन उन सभी शहीदों को याद करके श्रद्धांजलि दी जाती है जिन्होंने देश की आज़ादी के लिए अपने प्राण ख़ुशी-ख़ुशी त्याग दिए। गांधीजी के जीवन ने भारत और विश्व को अहिंसा, विश्व शांति और सद्भावना का पाठ पढ़ाया। शहीद दिवस को संयुक्त राष्ट्र द्वारा अंतर्राष्ट्रीय अहिंसा दिवस के रूप में भी मनाया जाता है।
आज के दिन देश के राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, रक्षा मंत्री और तीनों सेना प्रमुख राजघाट स्थित महात्मा गांधी की समाधि पर उन्हें श्रद्धांजलि देने आते हैं। आज राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, उपराज्यपाल विनय सक्सेना, और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा गांधीजी की 76वीं पुण्य तिथि पर राजघाट पहुंचकर पुष्पांजलि अर्पित की गयी। दूसरी ओर उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी द्वारा अपने निवास स्थान पर गांधीजी को श्रन्धांजलि दी गयी। लखनऊ में महात्मा गांधी की पुण्यतिथि पर उनकी प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित करके मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की। और अररिया में कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि दी।
इस दौरान उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने कहा कि “राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की पुण्य तिथि पर उन्हें याद कर रहे हैं। उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित कर रहे हैं और उनके बताए रास्ते पर सत्य और अहिंसा के मार्ग पर देश आगे बढ़ रहा है। “
गांधीजी भले ही आज हमारे बीच मौजूद नहीं है लेकिन उनके वचन और उनकी सोच आज भी हमारे दिलों में बसी हुयी है। उनके कहे शब्द आज भी भारत के हर एक बच्चे को याद है। उनकी विचार धारा को आज भी उतना ही सम्मान दिया जाता है।
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